सेफ सिटी प्रोजेक्ट के अंतर्गत बैठक में सिटी बसों, ओला,ऊबर आदि में भी अब सीसीटीवी व पैनिक बटन लगाए जाएंगे



सेफ सिटी प्रोजेक्ट के अंतर्गत बैठक में सिटी बसों, ओला,ऊबर आदि में भी अब सीसीटीवी व पैनिक बटन लगाए जाने की अतिरिक्त वाहनों के परमिट में जोड़े जाने पर हुआ विचार


ड्राइविंग ट्रेनिंग स्कूल संचालकों को अब प्रशिक्षण वाहनों हेतु परमिट लेना होगा अनिवार्य, प्रशिक्षण वाहन चालन हेतु क्षेत्र का होगा निर्धारण


समस्त प्रकार के वाहन परमिटों में वाहन स्वामी तथा चालकों के चरित्र सत्यापन कराना होगा अनिवार्य मंडलायुक्त ने प्रस्ताव को दी अनुमति


आगरा से सेक्टर 37 वाया परीचौक यमुना एक्सप्रेस वे पर बीएस-6/सीएनजी तथा 2016 मॉडल की डीजल चालित बसों को ही नवीन परमिट किया जाएगा निर्गत


आगरा। मंडलायुक्त रितु माहेश्वरी की अध्यक्षता में संभागीय परिवहन प्राधिकरण,आगरा की 47 वीं बैठक मंडलायुक्त सभागार में संपन्न हुई। बैठक में सर्व प्रथम विभिन्न श्रेणी के वाहनों को उ.प्र.मोटरयान नियमावली 1988 के अंतर्गत 01.07.2023 से 30.11.2023. तक 05 माह में जारी नए परमिट, परमिट नवीनीकरण, वाहन प्रतिस्थापन एवं परमिट निरस्तीकरण का प्रस्ताव रखा गया जिसमें निजी सवारी बस,माल वाहन, स्कूल बस, इत्यादि हेतु 3893 नए परमिट,1027 वाहनों का परमिट नवीनीकरण,68 वाहनों का वाहन प्रतिस्थापन तथा 2197 परमिटों का निरस्तीकरण अनुमोदन हेतु संभागीय परिवहन प्राधिकरण के समक्ष विचार हेतु रखा गया जिसका अनुमोदन किया गया। बैठक में सेफ सिटी प्रोजेक्ट के अंतर्गत सिटी बसों,ओला,ऊबर आदि में भी महिलाओं के साथ बुजुर्गों, बच्चों एवं दिव्यांगजनों को सम्मिलित किए जाने तथा सीसीटीवी व पैनिक बटन लगाए जाने की अतिरिक्त शर्त वाहनों के परमिट में जोड़े जाने के प्रस्ताव को विचार हेतु रखा गया। बैठक में शासन के निर्देशानुसार महिलाओं एवं अन्य यात्रियों के सुरक्षित यात्रा सुनिश्चित कराए जाने हेतु ओला,ऊबर से संबंध व संचालित टैक्सी एवं अन्य समस्त प्रकार के टैक्सी वाहन चालकों,वाहन स्वामी का चरित्र सत्यापन कराना अनिवार्य बनाए जाने का प्रस्ताव रखा गया जिन्हें प्राधिकरण की बैठक में अनुमोदन दिया गया। बैठक में ड्राइविंग ट्रेनिंग स्कूल संचालकों को प्रशिक्षण वाहनों हेतु परमिट की व्यवस्था किए जाने, प्रशिक्षण वाहन चालन हेतु क्षेत्र का निर्धारण करने,आगरा से सेक्टर 37 वाया परीचौक यमुना एक्सप्रेस वे पर बीएस-6/सीएनजी तथा 2016 मॉडल की डीजल चालित बसों को ही नवीन परमिट निर्गत किए जाने की व्यवस्था सुनिश्चित करने को प्रस्तावित किया गया। बैठक में उ.प्र.मोटरयान नियमावली 1988 की धारा 86 के अंतर्गत वादों के निस्तारण हेतु प्रशमन शुल्क जमा कराना अनिवार्य करने अन्यथा परमिट निरस्त के साथ ब्लैक लिस्टेड की कार्यवाही करने,

बैठक में कारखानों/फैक्ट्रियों में संचालित होने वाले वाहनों हेतु क्षेत्र निर्धारण कर परमिट जारी किए जाने की अनुमति दी गई इस हेतु संबंधित फैक्ट्री व कारखानों का अनुबंध पत्र लगाना अनिवार्य होगा। बैठक में वाहन प्रतिस्थापन के संबंध में ऑटो रिक्शा/टेंपो हेतु 06 माह एवं शेष अन्य वाहनों हेतु 04 माह के निर्धारित समय के बाद भी परमिट धारकों द्वारा वाहन प्रतिस्थापन की कार्यवाही नही की जाती जिससे विभाग को राजस्व की हानि के साथ आम जनता भी परिवहन सेवा से वंचित रहती है उक्त नीति की भी समीक्षा की गई तथा मंडलायुक्त महोदया द्वारा जरूरी दिशा निर्देश देते हुए प्रतिस्थापन आवेदन करने हेतु 02 माह का समय निर्धारित करने तदोपरांत परमिट निरस्त करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई।बैठक में अंतर्जनपदीय स्कूलों में संचालित होने वाले वाहनों के परमिटों के क्षेत्र निर्धारण पर भी विचार किया गया जिसमें आगरा संभाग स्तर पर 40 किमी दायरे में ही परमिट व्यवस्था सुनिश्चित करने को प्रस्तावित किया गया। बैठक में अराष्ट्रीयकृत निजी बस मार्गों पर सवारी गाड़ी परमिटों की स्वीकृति हेतु प्रार्थना पत्रों पर भी विचार किया गया तथा संबंधित को उचित दिशा निर्देश दिए गए।

बैठक में जिलाधिकारी श्री भानु चन्द्र गोस्वामी, उप परिवहन आयुक्त श्री मयंक ज्योति , संभागीय परिवहन अधिकारी श्री अरुण कुमार, क्षेत्रीय प्रबंधक ब्रह्म प्रकाश अग्रवाल सहित प्राइवेट बस संचालक एसो.के पदाधिकारी आदि उपस्थित रहे।

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जिला सूचना कार्यालय, आगरा द्वारा प्रसारित।

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