नवरात्रों में कन्या पूजन के लिये 2 से 10 वर्ष तक की कन्या का करे पूजन।


आगरा- श्री महालक्ष्मी मन्दिर वल्केश्वर पर 16 दिवसीय श्रीमद देवी भागवत कथा का गुणगान करते हुए व्यास बाल योगी पचौरी जी महाराज ने कहा संयमी ब्राहमण से देवी पाठ करवाना चाहिये ओर स्वयं भी उपवास करे। उपवास के प्रकार में बताया, की किस प्रकार आप व्रत ओर नियम कर सकते है।

1) उपवास व्रत 2) एक भुक्त व्रत 3) नक्तव्रत तथा नित्य यज्ञ भी करवाये।

श्री पचौरी जी ने बताया कि 2 साल से लेकर 10 साल तक की कन्या का पूजन करे। 

प्रथम दिवस व द्वितीय दिवस दो वर्ष की कन्या का पूजन करे। जिसे कुमारिका देवी कहते है।

तीसरे नवरात्रा मे त्रिमूर्ति 3 वर्ष की कन्या का पूजन चौथे दिवस 4 वर्ष की कल्याणी नाम से पूजन करे, पांचवे दिवस 5 साल की रोहिणी नाम से तथा 6 वर्ष की कालिका नाम की कन्या का पूजन किया जाता है सातवे दिन चण्डिका, आठवे दिन शाम्भवी 

8 वर्ष की तथा नोंवे दिवस नौ वर्ष की दुर्गा नाम से और दशवें दिवस दस वर्ष की शुभद्रा नाम की कन्या का पूजन करके पारायण करना चाहिये। श्रीमद देवी भागवद अमृत कथा पंडाल में नाग देवता के दर्शन भी श्रद्धालुओं ने किए। कथा पंडाल माँ भगवती के जयकारो से गूंज उठा।

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