अपने विषय पर यह एक अद्वितीय कृति है सिनेमा पर हर साल तमाम सारी पुस्तके रची जाती हैं किंतु चरित्र भूमिकाओं पर पुस्तकों का अभाव है : महापौर हेमलता दिवाकर

 



भारतीय बैंकर्स क्लब और साहित्य संगीत संगम के संयुक्त तत्वावधान में सुप्रसिद्ध पार्र्श्व गायक मुकेश जी की सौवीं जन्मतिथि पर उनके गीतों को समर्पित आयोजन ग्रीन हाउस फतेहपुर सीकरी रोड आगरा पर संपन्न हुआ इस अवसर पर सुधीर शर्मा रचित भारतीय सिनेमा में पिता की भूमिकाएं निभाने वाले कलाकारों पर आधारित पुस्तक सिने पा का विमोचन भी किया गया मुख्य अतिथि आगरा की महापौर माननीय  हेमलता  दिवाकर जी ने विमोचन करते हुए कहा कि अपने विषय पर यह एक अद्वितीय कृति है सिनेमा पर हर साल तमाम सारी पुस्तके रची जाती हैं किंतु चरित्र भूमिकाओं पर पुस्तकों का अभाव है । डॉक्टर राजेंद्र मिलन ने कहा की आज एक ऐसे गायक का जन्मदिन है जिन्होंने इसलिए 7 दशकों से दिलों पर राज किया है और उनके गीत अमर हैं। श्रीमती अनिता कुशवाहा ने कहा आज का आयोजन स्मरणीय है और आज वन दिवस भी है ऐसे में मुकेश जी का एक गीत याद आ रहा है हरी हरी वसुंधरा पे नीला नीला ये गगन

 अतिथियों का स्वागत चंद्रशेखर शर्मा ने किया उन्होंने कृति का विवेचन करते हुए कहा यह कृति सिने पाठकों के लिए एक अमूल्य देन है साथ ही प्रत्येक पृष्ठ पर पिता को समर्पित दो पंक्तियों ने इस कृति में चार चांद लगा दिए हैं।



 इस अवसर पर मुकेश जी के गाए हुए कुछ अमर और अनसुने गीतों को संचालन करते हुए सुशील सरित ने प्रस्तुत किया। कुमारी पूजा तोमर की प्रस्तुति दुनिया बनाने वाले क्या तेरे मन में समाई और क्या खूब लगती हो को पसंद किया गया डॉ आन्श्वना सक्सेना ने एक प्यार का का नगमा है और दिल तड़प के कह रहा है आ भी जा प्रस्तुत किया ,दिनेश श्रीवास्तव ने कहीं दूर जब दिन ढल जाए और अंशु शर्मा ने थाने काजलियो बना लूं और विजय पाठक ने जाने चले जाते हैं कहां गीत प्रस्तुत किये सुभाष सक्सेना ने रमैया वस्तावैया गीत रसिया संगत की परमानन्द शर्मा ने।

रुपेश मल्होत्रा ने दीवानों से यह मत पूछो गीत को प्रस्तुत किया प्रस्तुत किया । अशोक अश्रु ने कहा कि मुकेश जी के गीतों में भारतीय चिंतन के अमर तत्व मौजूद हैं और यह इस कारण संभव हो सका उनको अपने युग के महान गीतकारों के गीत गाने को मिले असीम आनंद रमेश आनन्द, संजय गुप्ता शरद गुप्ता दुरग विजय सिंह दीप, डॉ शैलबाला अग्रवाल , शरद,प्रेम राजावत ,पद्मावती पदम विजय तिवारी आरती तोमर शिवदयाल प्यारी रमेश चंद्र अग्रवाल, इंदल सिंह इंदल इंदु, जगमोहन गुप्ता , गया प्रसाद मौर्य आदि उपस्थित उल्लेखनीय  रही धन्यवाद सुधीर शर्मा ने दिया

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